LIC को बचाने के लिए पीएम मोदी
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LIC को बचाने के लिए पीएम मोदी से लगाई गुहार, जानिए क्या है खतरा
By Abhishek Guptaनयी दिल्ली। केंद्र सरकार देश की सबसे बड़ी बीमा कंपनी एलआईसी का आईपीओ लाने की तैयारी में है। बता दें कि सरकार ने चालू वित्त वर्ष में पीएसयू कंपनियों में हिस्सेदारी बेच कर 2.10 लाख करोड़ रुपये जुटाने का लक्ष्य रखा था। बजट 2020 में रखे गए 2.10 लाख करोड़ रुपये के विनिवेश के लक्ष्य में से 1.2 लाख करोड़ रुपये आईपीओ, हिस्सेदारी बिकवाली, बायबैक (शेयरों की वापस खरीद), ओएफएस (ऑफर फॉर सेल) से जुटाये जाने की योजना थी। वहीं बाकी 90000 करोड़ रुपये एलआईसी और आईडीबीआई बैंक में हिस्सा बेचने से जुटाये जाने की बात सामने आई थी। अब सरकार ने एलआईसी की स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्टिंग की तैयारी तेज कर दी है। लिस्टिंग के लिए एलआईसी एक्ट में बदलाव जरूरी है। इसी बीच एलआईसी के आईपीओ/विनिवेश के खिलाफ आवाज बुलंद की जाने लगी है। बल्कि इस मामले को हाईलाइट करते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र भी लिखा गया है।
कौन कर रहा विरोधआपकी जानकारी के लिए बता दें कि एलएआईसी के प्रस्तावित विनिवेश के खिलाफ अखिल भारतीय एलआईसी कर्मचारी महासंघ सामने आया है। इस संगठन ने पीएम मोदी को पत्र लिख कर एलआईसी को बचाने की गुहार लगाई है। पीएम को लिखे पत्र में संगठन ने कहा है कि एलआईसी में विनिवेश 'आत्मनिर्भर भारत' अभियान के खिलाफ है। संगठन के अध्यक्ष बिनॉय विस्वाम ने कहा कि प्रस्तावित आईपीओ प्रोसेस को लेकर बीमा निगम के कर्मचारी चिंतित हैं। कर्मचारी संगठन ने एलआईसी को भारत के मुकुट का एक रत्न बताते हुए पीएम से कहा कि वे इसमें विनिवेश रोकने के लिए तुरंत कुछ करें।
कौन कर रहा विरोध
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि एलएआईसी के प्रस्तावित विनिवेश के खिलाफ अखिल भारतीय एलआईसी कर्मचारी महासंघ सामने आया है। इस संगठन ने पीएम मोदी को पत्र लिख कर एलआईसी को बचाने की गुहार लगाई है। पीएम को लिखे पत्र में संगठन ने कहा है कि एलआईसी में विनिवेश 'आत्मनिर्भर भारत' अभियान के खिलाफ है। संगठन के अध्यक्ष बिनॉय विस्वाम ने कहा कि प्रस्तावित आईपीओ प्रोसेस को लेकर बीमा निगम के कर्मचारी चिंतित हैं। कर्मचारी संगठन ने एलआईसी को भारत के मुकुट का एक रत्न बताते हुए पीएम से कहा कि वे इसमें विनिवेश रोकने के लिए तुरंत कुछ करें।
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